
Quiz-summary
0 of 5 questions completed
Questions:
- 1
- 2
- 3
- 4
- 5
Information
Old NCERT is important for UPSC exam preparation. Aspirants should always start their UPSC Civil Services preparation from the basic NCERT books.
Mostly IAS toppers told that NCERT is the foundation of their exam preparation.NCERT are very important from prelims perspective.
We are Providing NCERT based quiz for your preparation. In this quiz, There will have 5 questions in each quiz. The questions are mainly framed from old NCERT class 6 to 12. This quiz is intended to introduce you to basic concepts and certain relevant to UPSC IAS civil services preliminary exam.
Hope this test will help to increase your preparation level.
You have already completed the quiz before. Hence you can not start it again.
Quiz is loading...
You must sign in or sign up to start the quiz.
You have to finish following quiz, to start this quiz:
Results
0 of 5 questions answered correctly
Your time:
Time has elapsed
You have reached 0 of 0 points, (0)
Average score |
|
Your score |
|
Categories
- Not categorized 0%
Pos. | Name | Entered on | Points | Result |
---|---|---|---|---|
Table is loading | ||||
No data available | ||||
- 1
- 2
- 3
- 4
- 5
- Answered
- Review
-
Question 1 of 5
1. Question
2 pointsचोल काल में “वेट्टी” शब्द किस लिये प्रयुक्त होता था?
Correct
उत्तर (B)
व्याख्याः चोल काल मे ‘वेट्टी’ शब्द का प्रयोग जबरन श्रम के रूप में लिये जाने वाले ‘कर’ के लिए किया जाता था।Incorrect
उत्तर (B)
व्याख्याः चोल काल मे ‘वेट्टी’ शब्द का प्रयोग जबरन श्रम के रूप में लिये जाने वाले ‘कर’ के लिए किया जाता था। -
Question 2 of 5
2. Question
2 points‘मणिग्रामम’ और ‘नानादेशी’ शब्द किन्हें सूचित करते हैं?
Correct
उत्तरः (b)
व्याख्याः व्यापारियों को अनेक राज्यों तथा जंगलों से होकर गुजरना पड़ता था। इसलिये वे आमतौर पर काफिले बनाकर एक साथ यात्रा करते थे और अपने हितों की रक्षा के लिये व्यापार-संघ (गिल्ड) बनाते थे। दक्षिण भारत में 8वीं सदी और उसके परवर्ती काल में अनेक ऐसे संघ थे, इनमें सबसे प्रसिद्ध ‘मणिग्रामम’ और ‘नानादेशी’ थे। ये व्यापार संघ प्रायद्वीप के भीतर और दक्षिण-पूर्व एशिया तथा चीन के साथ भी दूर-दूर तक व्यापार करते थे।Incorrect
उत्तरः (b)
व्याख्याः व्यापारियों को अनेक राज्यों तथा जंगलों से होकर गुजरना पड़ता था। इसलिये वे आमतौर पर काफिले बनाकर एक साथ यात्रा करते थे और अपने हितों की रक्षा के लिये व्यापार-संघ (गिल्ड) बनाते थे। दक्षिण भारत में 8वीं सदी और उसके परवर्ती काल में अनेक ऐसे संघ थे, इनमें सबसे प्रसिद्ध ‘मणिग्रामम’ और ‘नानादेशी’ थे। ये व्यापार संघ प्रायद्वीप के भीतर और दक्षिण-पूर्व एशिया तथा चीन के साथ भी दूर-दूर तक व्यापार करते थे। -
Question 3 of 5
3. Question
2 pointsनिम्नलिखित कथनों में से कौन-सा कथन असत्य है?
Correct
उत्तरः (B)
व्याख्याः कथन (b) गलत है। महासागर की पर्पटी मुख्यतः सिलिका एवं मैग्नीशियम से बनी है। इसलिये इसे सिमै (सि- सिलिका, मै- मैग्नीशियम) कहा जाता है।Incorrect
उत्तरः (B)
व्याख्याः कथन (b) गलत है। महासागर की पर्पटी मुख्यतः सिलिका एवं मैग्नीशियम से बनी है। इसलिये इसे सिमै (सि- सिलिका, मै- मैग्नीशियम) कहा जाता है। -
Question 4 of 5
4. Question
2 pointsपादपों के सन्दर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिये-
1. सभी पादप अपना भोजन स्वयं संश्लेषित करते हैं।
2. पादप मृदा में उपस्थित नाइट्रोजन जड़ों की सहायता से प्राप्त करते हैं।
उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं?Correct
उत्तरः (b)
व्याख्याः
कथन 1 गलत है क्योंकि कुछ पादप ऐसे भी होते हैं जिनमें क्लोरोफिल नहीं पाया जाता है इसलिये वे अपना भोजन स्वयं संश्लेषित नहीं कर सकते (जैसे- अमरबेल)। अपना भोजन स्वयं बनाने वाले पादप स्वपोषी कहलाते हैं, जबकि वे पादप जो अपना भोजन स्वयं नहीं बना पाते विषमपोषी कहलाते हैं। विषमपोषी पादप भोजन के लिये जिन पादपों पर निर्भर होते हैं, वे पादप परपोषी(Host) कहलाते हैं।
मिट्टी में उपस्थित कुछ जीवाणु गैसीय नाइट्रोजन को विलेय पदार्थों में परिवर्तित करके मृदा में निर्मुक्त कर देते हैं जिसे पादप जड़ों की सहायता से जल के साथ अवशोषित कर लेते हैं। अतः कथन 2 सही है।Incorrect
उत्तरः (b)
व्याख्याः
कथन 1 गलत है क्योंकि कुछ पादप ऐसे भी होते हैं जिनमें क्लोरोफिल नहीं पाया जाता है इसलिये वे अपना भोजन स्वयं संश्लेषित नहीं कर सकते (जैसे- अमरबेल)। अपना भोजन स्वयं बनाने वाले पादप स्वपोषी कहलाते हैं, जबकि वे पादप जो अपना भोजन स्वयं नहीं बना पाते विषमपोषी कहलाते हैं। विषमपोषी पादप भोजन के लिये जिन पादपों पर निर्भर होते हैं, वे पादप परपोषी(Host) कहलाते हैं।
मिट्टी में उपस्थित कुछ जीवाणु गैसीय नाइट्रोजन को विलेय पदार्थों में परिवर्तित करके मृदा में निर्मुक्त कर देते हैं जिसे पादप जड़ों की सहायता से जल के साथ अवशोषित कर लेते हैं। अतः कथन 2 सही है। -
Question 5 of 5
5. Question
1 pointsनिम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिये-
1. स्वास्थ्य का अधिकार,मौलिक अधिकारों का भाग नहीं है, यही कारण है कि स्वास्थ्य सुविधायें सभी के लिये समान रूप से उपलब्ध नहीं हैं।
2. स्वच्छ पेय जल की आपूर्ति न होने के कारण जल जनित संक्रमित बीमारियों से लोग अधिक पीड़ित हैं।
उपर्युक्त में कौन-सा/से कथन असत्य है/हैं?Correct
उत्तरः (a)
व्याख्याः स्वास्थ्य का अधिकार, हमारा मौलिक अधिकार है, बावजूद इसके सभी को समान स्वास्थ्य सुविधाएँ उपलब्ध नहीं हैं। स्वास्थ्य के अधिकार को जीवन के अधिकार (अनुच्छेद 21) के अंतर्गत सम्मिलित माना गया है। स्वच्छ पेय जल की आपूर्ति न होने के कारण जल जनित संक्रमित बीमारियों से लोग अधिक पीड़ित हैं। अशुद्ध पानी के सेवन से संक्रमित बीमारियाँ, (जैसे- हैजा, पेट के कीड़े और हैपेटाइटिस इत्यादि) हो जाती हैं। संक्रमित बीमारियों में से ज्यादातर बीमारियाँ अशुद्ध जल के सेवन से होती हैं।Incorrect
उत्तरः (a)
व्याख्याः स्वास्थ्य का अधिकार, हमारा मौलिक अधिकार है, बावजूद इसके सभी को समान स्वास्थ्य सुविधाएँ उपलब्ध नहीं हैं। स्वास्थ्य के अधिकार को जीवन के अधिकार (अनुच्छेद 21) के अंतर्गत सम्मिलित माना गया है। स्वच्छ पेय जल की आपूर्ति न होने के कारण जल जनित संक्रमित बीमारियों से लोग अधिक पीड़ित हैं। अशुद्ध पानी के सेवन से संक्रमित बीमारियाँ, (जैसे- हैजा, पेट के कीड़े और हैपेटाइटिस इत्यादि) हो जाती हैं। संक्रमित बीमारियों में से ज्यादातर बीमारियाँ अशुद्ध जल के सेवन से होती हैं।